यौन अपराध पीड़ितों के नाम का जिक्र किसी भी कार्यवाही में नहीं किया जाना चाहिए, अधीनस्थ अदालतें सावधानी बरतें : सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस विनीत सरन और जस्टिस एमआर शाह की तीन-न्यायाधीशों की खंडपीठ ने सत्र न्यायालय के फैसले पर कड़ी आपत्ति जताई, जिसमें बलात्कार पीड़िता के नाम का उल्लेख किया गया है। बेंच ने कहा कि सभी अधीनस्थ अदालतों को सावधान रहना चाहिए कि किसी भी कार्यवाही में बलात्कार पीड़िता की पहचान उजागर न करें। बेंच ने कहा कि, “यह अच्छी तरह से स्थापित है कि इस तरह के मामलों में किसी भी कार्यवाही में पीड़ित के नाम का उल्लेख नहीं किया जाना है। हमारा विचार है कि सभी अधीनस्थ अदालतें ऐसे मामलों से निपटने के दौरान भविष्य में सावधान रहें।”